जैसे ही आईपीएल की शुरुआत होती है वैसे ही कई खिलाड़ी घरेलू टूर्नामेंट को नजर अंदाज करने लगते हैं और वह आईपीएल की जोरों से तैयारी करते हैं जैसे कि ईशान किशन, और इसी के साथ शायद ही किसी को या याद भी होगा कि विराट कोहली और रोहित शर्मा जैसे बेहतरीन बल्लेबाज होने घरेलू क्रिकेट को खिला ही कब था,
यह सारी चीज किसी को भी याद नहीं है, ऐसा करने वाले विराट कोहली और रोहित शर्मा नहीं बल्कि फेमस खिलाड़ी एस धोनी भी है उन्होंने भी हम घरेलू टूर्नामेंट को नजर अंदाज किया है आईपीएल के लिए, इन सभी को सचिन तेंदुलकर जैसे खिलाड़ियों से कुछ सीखना चाहिए,
आईपीएस से संन्यास लेने के बाद भी खेल रणजी
एकमात्र क्रिकेटर सचिन तेंदुलकर ही है जिन्होंने आईपीएल से संन्यास लेने के बाद भी क्रिकेट खेल, इंटरनेशनल क्रिकेट और घरेलू टूर्नामेंट क्रिकेट, जैसे ही 2013 में आईपीएल खत्म हुआ वैसे ही सचिन तेंदुलकर ने सबको यह बता दिया कि अब वह आईपीएल कभी भी नहीं खेलेंगे, इसके बाद इस साल हो रहा है चैंपियन ट्रॉफी लीग मैं सचिन तेंदुलकर बैटिंग के लिए भी उतरे थे, उसके बाद वह हरियाणा के लिए रणजी ट्रॉफी भी उन्होंने खेल, और सचिन तेंदुलकर हमेशा यह कोशिश करते हैं कि वह किसी तरह से घरेलू टूर्नामेंट को खेल सके,
सचिन तेंदुलकर के क्रिकेट के कुछ खास आदतें
सचिन तेंदुलकर एक काफी बेहतरीन बल्लेबाज रहे थे, हम आपको बता दें कि सचिन तेंदुलकर का एक खास आदत है वह कभी भी घरेलू टूर्नामेंट को देखना नहीं बोलते अगर वह जब कभी भी करें टूर्नामेंट को देखना भूल भी चाहते हैं तो उसे टूर्नामेंट के हाइलाइट्स को देखकर उन खिलाड़ियों को शुभकामनाएं देते हैं जिन खिलाड़ियों ने उसे टूर्नामेंट में काफी अच्छा प्रदर्शन किया होगा, क्या आदत सचिन तेंदुलकर की काफी अच्छी है इसकी वजह से सचिन तेंदुलकर औरो खिलाड़ियों से अलग और बेहतरीन होते हैं इन्हीं खास अंदाजों की वजह से सचिन तेंदुलकर को क्रिकेट का भगवान भी कहते हैं,
लेकिन आपके टाइम पर कुछ ऐसा युवा बल्लेबाज है जो आईपीएल को ज्यादा महत्व देते हुए वह घरेलू टूर्नामेंट को अंदर अंदाज करने लगते हैं, इसका परिणाम स्वरूप आईसीसी उन्हें बड़ी सजा भी दे देती है,